बिलासपुर। अगर आप भी यह मान कर चल रहे हैं कि पूर्व वन अधिकारी श्री एस डी बडगैंया बतौर एक जमीनी कार्यकर्ता ही भाजपा में शामिल हुए हैं। और वे कुछ अर्से तक भाजपा में वह सब काम करेंगे जो एक कार्यकर्ता किया करता है। तब तो कोई प्रॉब्लम नहीं है। लेकिन यदि ऐसा नहीं है और श्री बडगैंया चुनाव लड़ने के मूड से भाजपा में प्रवेश किए हैं। तब तो उनका भगवा ब्रिगेड में शामिल होना लोरमी विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के पुराने टिकट दावेदारों के लिए मुश्किलें पैदा करता दिख रहा है।
लोरमी विधानसभा क्षेत्र के अजेय योद्धा और कई बार के विधायक श्री धर्मजीत सिंह ठाकुर भी अब भाजपा में शामिल हो चुके हैं। उनके समर्थकों का मानना है कि पार्टी उन्हें तखतपुर अथवा बिलासपुर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव मैदान में उतर सकती है।
पिछले चुनाव में तखतपुर से हर्षिता पांडे ने भाजपा की टिकट पर चुनाव लड़ा था। लेकिन तब भाजपा बुरी तरह हारने के साथ पहली बार चुनावी दौड़ में तीसरे नंबर पर फिसल गई थी। काबिलेगौर है कि वन अधिकारी बडगैंया ने लोरमी क्षेत्र में बतौर लोकप्रिय वनअधिकारी लंबा समय गुजारा है। अचानकमार अभयारण्य के क्षेत्र में बसे गांवों से लेकर लोरमी क्षेत्र के गांव-गांव तक लोगों के बीच उनकी अच्छी पकड़ है।
इसलिए यह साफ दिखाई दे रहा है कि अगर वे चुनाव लड़ते हैं तो लोरमी ही उनका पसंदीदा विधानसभा क्षेत्र होगा। जाहिर है कि यदि यहां से भाजपा उन्हें तवज्जो दे देती है तो यहां काफी बड़ी संख्या में मौजूद साहू समाज के मतदाताओं को किस तरह अपने साथ बनाए रखा जाएगा..? यह सवाल भी भाजपा के लिए माथापच्ची का विषय हो सकता है। वहीं तखतपुर से यदि भाजपा श्री धर्मजीत सिंह ठाकुर के नाम पर मुहर लगाती है। तो इसका असर बेलतरा क्षेत्र तक पड़े बिना नहीं रहेगा। बीते कुछ विधानसभा चुनावों से बेलतरा को ब्राह्मण समाज के प्रभुत्व वाली सीट माना जाने लगा है।
ऐसे में यदि तखतपुर से ब्राह्मण समाज की हर्षिता पांडे को टिकट से वंचित किया जाता है तो, बेलतरा अथवा बिलासपुर से किसी ब्राह्मण चेहरे को टिकट देने की चर्चा की जा रही है। अगर भाजपा के भीतर चल रहा यह विचार वस्तुत सत्य है तो बेलतरा विधायक श्री रजनीश सिंह और बिलासपुर के दिग्गज नेता पूर्व मंत्री श्री अमर अग्रवाल के समर्थकों को अभी से सतर्क हो जाना चाहिए। बिलासपुर में भी ब्राह्मण समाज के शैलेष पांडे की गत चुनाव में जबरदस्त विजय के बाद न केवल कांग्रेस वरन भाजपा में भी ब्राह्मण समाज के कई दमदार लोगों ने अपनी अपनी पार्टी में टिकट की दावेदारी ठोकनी शुरू कर दी है।
जहां तक बिलासपुर जिले की सीटों के नजारे की बात है एक चर्चा यह भी है कि प्रदेश भाजपा अध्यक्ष श्री अरुण साव को पार्टी कोटा अथवा बिलासपुर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव मैदान में उतर सकती है। अगर ऐसा होता है तो जिले के सभी विधानसभा चुनाव क्षेत्र में भाजपा के मोहरे फिर से नए सिरे से बिछाने होंगे