धमतरी। छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में पहला ऐसा मामला है। जहां एक नर्सिंग होम में पहली बार एक महिला ने चार बच्चों (तीन बेटियां और एक बेटा) को जन्म दिया है। इससे पहले महिला का दो बार गर्भपात हो चुका था, लेकिन अब परिवार में खुशियों की चार गुना बढ़ोतरी हो गई है।
सातवें महीने में हुआ ऑपरेशन से जन्म
रविवार, 16 मार्च को, समय से पहले (सातवें महीने में) ऑपरेशन द्वारा बच्चों का जन्म हुआ। चारों बच्चों का वजन अलग-अलग है—पहली बच्ची 1.5 किलोग्राम, दूसरी 1.3 किलोग्राम, तीसरी 1.1 किलोग्राम और चौथा बच्चा 900 ग्राम का है। जन्म के तुरंत बाद सभी बच्चों को आईसीयू में रखा गया।

चार साल पहले हुई थी शादी
बच्चों के पिता नंदेश्वर नेताम (30) कौहाबाहरा गांव के निवासी हैं। उन्होंने बताया कि 2020 में उनकी शादी लक्ष्मी नेताम (30) से हुई थी। दोनों की पढ़ाई भी साथ में हुई थी। वे मजदूरी और कृषि कार्य करते हैं, जबकि लक्ष्मी घर पर सिलाई का काम करती हैं।

रेयर केस: बिना IVF के हुआ चार बच्चों का जन्म
डॉक्टर रोशन उपाध्याय ने बताया कि बिना IVF के इस तरह के मामलों का होना बहुत दुर्लभ है। आमतौर पर IVF के बाद 2-3 बच्चों का जन्म एक साथ हो सकता है, लेकिन बिना IVF के चार बच्चों का जन्म असामान्य है। महिला का इलाज सरकारी अस्पताल में चल रहा था।

धमतरी में पहली बार बना रिकॉर्ड
डॉक्टर रश्मि उपाध्याय ने बताया कि धमतरी जिले में इससे पहले दो बार तीन बच्चों के जन्म का रिकॉर्ड रहा है—पहली बार 2010 में और दूसरी बार करीब 5-6 साल पहले। लेकिन 2025 में पहली बार चार बच्चों का जन्म हुआ है, जिससे नया रिकॉर्ड बन गया है।
केरल में है सर्वाधिक बच्चों का रिकॉर्ड
केरल के मल्लपुरम जिले के गोंडीहानी गांव में सर्वाधिक बच्चों के जन्म का रिकॉर्ड दर्ज है। हालांकि, धमतरी जिले में यह अपनी तरह का पहला मामला है।